कुछ यादें बेतरतीब सी
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गोइंका व्यंग्यभूषण सम्मान 2018
उपन्यास
अपने गिरेबां में !!!
लघुकथाएं ..
व्यंग्य श्री - २००१४
कुछ यादें बेतरतीब सी
5.2.14
व्यंग्य लघुकथा का पाठ - वरिष्ठ श्री सूर्यकांत नागर, श्री ए. उन्नी और अनेक साहित्यकार जलेस के एक कार्यक्रम में - दिनाक -२५ जनवरी २०१४
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